दीपक ताम्रकार की रिपोर्ट
सेवाजोहार (डिंडोरी) :– मप्र के आदिवासी जिला डिंडोरी में यातायात पुलिस की जितनी तारीफ की जाए उतनी कम है। वजह साफ हैं घटना दुर्घटना अचानक से घटित होती है लेकिन पीछे वजह छोड़ जाती है जिसमे बाद में सुधार के प्रयास किए जाते है । लेकिन अगर जान कर भी दोबारा लापरवाही को होने दिया जाए तो फिर आप इसे क्या कहेंगे : तारीफ ही करेंगे न?
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यह फोटो डिंडोरी जिला मुख्यालय के बस स्टैंड के सामने और जिला चिकित्सालय के बाजू खड़े ट्रक की है जो लगभग 15 मिनिट सवारियों को ठसा ठस भरके आगे निकल जाता है। लेकिन ताज्जुब की बात है की डिंडोरी का सजग और फुर्तीला यातायात विभाग इसे पकड़ तक नही पाता है। शहर में भारी वाहनों की नो एंट्री रहती है क्योंकि आवागमन के लिए रास्ते सकरे और एक ही है। ट्रक ढलती शाम को पहले तो डिंडोरी जिला चिकित्सालय के आकस्मिक वार्ड रास्ते के सामने खड़ा होता है तभी वहा खड़े जागरूक सज्जन उन्हें समझाइश देते है की यह एंबुलेंस के आने जाने का रास्ता है जो मरीज को लेकर पहुंचती है ।

इतना सुनकर ट्रक ड्राइवर आगे बढ़ा लेता है। जानकारी सोशल मीडिया के व्हाट्स एप प्लेटफार्म में डाली जाती है लेकिन यातायात अधिकारी की नजर न व्हाट्स एप पर पड़ती है और न ही चौराहे पर लगे कैमरे में ट्रक कैद हो पाता है जिससे उस पर कार्यवाही हो सके ।
डिंडोरी नगर में यातायात व्यवस्था फिलहाल में बेपटरी हो चला हैं। बस स्टैंड डिंडोरी से लेकर पुरानी डिंडोरी तक और अवंती बाई चौराहे से लेकर पुल पार तक जाम की तस्वीरें आम है।